भारत को खिलौनों के क्षेत्र में वैश्विक विनिर्माण केंद्र बनाने के लिये ‘टॉयकाथॉन’ की शुरूआत

नयी दिल्ली, पांच जनवरी (भाषा) सरकार ने मंगलवार को देश में नय व अनूठे प्रकार के खिलौने के उत्पादन को बढ़ावा देने के लिये ‘टॉयकाथॉन’ की शुरूआत की। इसके तहत छात्र, शिक्षक, विशेषज्ञ और स्टार्टअप एक मंच पर आकर नये-नये प्रकार के खिलौने और ‘गेम’ बनाने को लेकर विचारों का आदान-प्रदान करेंगे। महिला और बालविकास तथा कपड़ा मंत्री स्मृति ईरानी ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि भारत ज्यादातर खिलौनों का आयात करता है। सरकार खिलौना विनिर्माण के क्षेत्र में देश को आत्मनिर्भर बनाने के लिये इस क्षेत्र में देश में काम कर रहे उद्योगों को बढ़ावा दे रही है। इस मौके पर मौजूद शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक ने कहा कि भारत में खिलौनों का बाजार करीब एक अरब डॉलर का है। लेकिन दुर्भाग्य से 80 प्रतिशत खिलौनों का आयात किया जाता है। उन्होंने कहा, ‘‘आज ‘टॉयकाथॉन’ की शुरूआत सरकार का घरेलू उद्योग और स्थानीय विनिर्माताओं के लिये एक परिवेश सृजित करने तथा अब तक उपयोग नहीं हुए संसाधनों एवं क्षमता के उपयोग की दिशा में जारी प्रयास का हिस्सा है।’’ शिक्षा, महिला और बाल विकास, कपड़ा, वाणिज्य एवं उद्योग, एमएसमई (सूक्ष्म, लघु एवं मझोले उद्यम), सूचना और प्रसारण तथा अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद ने संयुक्त रूप से ‘टॉयकाथॉन’-2021 की शुरूआत की है। एक आधिकारिक बयान के अनुसार, ‘‘यह न केवल भारत को खिलौनों और ‘गेम’ के लिये एक वैश्विक केंद्र विकसित करने की दिशा में मदद करेगा, बल्कि हमारे बच्चों को भारतीय संस्कृति के महत्व और मूल्य को समझने में मददगार होगा जिसकी परिकल्पना राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 में की गयी है।’’

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