दुर्ग। दुर्ग-राजनांदगांव मार्ग पर स्थित शिवनाथ नदी के पुराने पुल से रविवार की रात उफनती शिवनाथ नदी में कार समेत गिरे चालक को करीब 65 घंटे के रेस्क्यू अभियान के बाद बचाव दल ने बुधवार की दोपहर ढुंढ निकाला। चालक कार में शिवनाथ नदी के पुराने पुल से तीन सौ मीटर की दुरी और 30 फीट गहराई मेंं मृत मिला। मृतक की निशांत भंसाली (जैन) 32 वर्ष पिता मनोहरमल भंसाली अरिहंत हाईट्स पचपेड़ी नाका रायपुर निवासी के रुप में शिनाख्त की गई है। रविवार की रात वह डौंडीलोहारा से राजनांदगांव मार्ग होते हुए रायपुर लौट रहा था। इस बीच निशांत भंसाली शिवनाथ नदी के पुराने पुल से रहस्यात्मक ढंग से कार समेत शिवनाथ नदी में गिर कर मौत का शिकार हो गया।
मृतक निशांंत भंसाली की टिकरापारा पुलिस थाना रायपुर में गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज करवाई गई थी। निशांत के मोबाईल फोन का अंतिम लोकेशन शिवनाथ नदी के पुराने पुल के आसपास मिला था। फलस्वरुप शिवनाथ नदी में कार समेत चालक के गिरने के बाद रेस्क्यू अभियान पर निशांत के परिजनों ने भी नजरें रखी हुई थी। परिजन बुधवार को शिवनाथ नदी के पुराने पुल पहुंचे थे और निशांत के बड़े भाई राजा भंसाली ने शव की निशांत के रुप में पहचान की। निशांत की मौत हादसा है या खुदकुशी, फिलहाल यह स्पष्ट नहीं हो पाया है, लेकिन घटना की वस्तुस्थिति से पुलिस मामले को खुदकुशी का होने की आशंका जता रही है। पिछले 65 घंटो में शव बुरी तरह फूल गया है,वहीं कार के सामने का हिस्सा क्षतिग्रस्त हो गया है। यह कार मारूति कंपनी की स्विफ्ट कार है। जिसका नंबर सीजी 04/एल डब्ल्यू 1177 है। चालक व कार को उफनती शिवनाथ नदी में खोजने करीब 65 घंटे तक रेस्क्यू अभियान चला। अभियान में एनडीआरएफ, एसडीआरएफ , गोताखोर मछुवारे व पुलिस की टीम जुटी रही है, लेकिन इस रेस्क्यू अभियान में स्थानीय गोताखोर मछुवारों ने जिला प्रशासन को सफलता दिलवाई।
बताया गया है कि अपनी पारंपरिक तकनीक से गोताखोर मछुवारों ने एनडीआरएफ , एसडीआरएफ व पुलिस की टीम को पीछे छोड़ दिया। सर्चिंग अभियान के तहत गोताखोर मछुवारों ने बुधवार की सुबह पूजा पाठ कर शिवनाथ नदी में जाल फैलाया और मछुवारों की 14 सदस्यीय टीम नदी में उतरी। गोताखोर मछुवारा बलराम ढीमर ने शिवनाथ नदी के पुराने पुल से करीब तीन सौ मीटर की दूरी और करीब 30 फीट गहरे नदी के अंदर स्विफ्ट कार को खोज निकाला। फिर एनडीआरएफ , एसडीआरएफ की मदद से गोताखोर मछुवारे बलराम ढीमर ने हुक के सहारे रस्सी बांधा और कार को क्रेन के मदद से बाहर निकाला गया। सुबह से शुरु हुआ यह अभियान बुधवार की दोपहर करीब साढ़े 3 बजे खत्म हुआ। इस अभियान में मछुवारे बलराम ढीमर, श्यामू ढीमर, कैलाश ढीमर, राम ढीमर के अलावा 14 सदस्यीय गोताखोर मछुवारों ने योगदान सराहनीय दिया। जिनके साहस की मौके पर जुटे लोगों ने प्रशंसा की।
मौके पर कलेक्टर पुष्पेन्द्र मीणा, एसपी अभिषेक पल्लव, सीएसपी अभिषेक झा, पुलिस के अन्य अधिकारी के अलावा एनडीआरएफ, एसडीआरएफ के आला अधिकारी भी मौजूद थे