भाजपा विधायक (BJP MLA) और पूर्व मंत्री रणधीर सिंह (Ex Minister Randhir Singh) के रांची (Ranchi) स्थित सरकारी मकान को खाली कराने के लिए शनिवार को प्रशासन की टीम उनके आवास पर पहुंची, लेकिन रणधीर सिंह आवास पर नहीं थे। दंडाधिकारी ने जब उनसे संपर्क किया, तो उन्होंने बताया कि मकान खाली करने के लिए वे सामानों की पैकिंग कर रहे हैं। जिसके बाद प्रशासन की ओर से उन्हें 48 घंटे का वक्त सामान खाली करने के लिए दिया।
दूसरी तरफ बीजेपी विधायक नवीन जायसवाल (BJP MLA Navin Jaiswal) के भी मकान को खाली कराने के लिए टीम पहुंचती, उससे पहले ही सूचना दी गई कि अदालत ने नवीन जायसवाल के सरकारी मकान को खाली करने पर रोक लगा दी है और इस मामले की सुनवाई की अगली तिथि 14 दिसंबर निर्धारित की गई है। उसके बाद ही मकान खाली कराने को लेकर फैसला होगा।
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प्रशासन की ओर से उन्हें 48 घंटे का समय के मकान को खाली कराने के लिए दंडाधिकारियों के नेतृत्व में बड़ी संख्या पुलिस मौके पर पहुंची। इस दौरान प्रशासनिक अधिकारियों ने रणधीर सिंह से संपर्क किया, तो उन्हें पता चला कि सामानों की पैकिंग का काम शुरू हो गया है और वे मकान खाली करने जा रहे है। जिसके बाद प्रशासन की ओर से उन्हें 48 घंटे का समय दिया गया।
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स्टीफन मरांडी को आवंटित किया गया है बंगला
गौरतलब है कि पूर्व मंत्री रणधीर सिंह फिर से इस बार सारठ विधानसभा क्षेत्र से चुनाव जीत कर आये, तो उन्हें मंत्री बंगला की जगह विधायकों के लिए आवंटित सरकारी र्क्वाटर उपलब्ध कराया गया और यह बंगला सात बार विधानसभा के लिए निर्वाचित जेएमएम के वरिष्ठ विधायक स्टीफन मरांडी को आवंटित किया गया है। जबकि रणधीर सिंह को मंत्री जोबा मांझी के खाली किया गया र्क्वाटर उपलब्ध कराया गया है।
14 जनवरी तक इसी मकान में रखना था: रणधीर सिंह
रणधीर सिंह का कहना था कि 8 दिसंबर को जोबा मांझी ने यह बंगला खाली किया है, इसलिए उस मकान की मरम्मत और रंग-रोगन के कारण कुछ वक्त दिया जाए, वहीं उनके मकान में सामान को खाली करने में भी वक्त लगेगा। विधायक को 14 जनवरी तक इसी मकान में रहना था, लेकिन प्रशासन की ओर से उन्हें कुछ घंटों की ही मोहलत दी गई है।
बीजेपी विधायक नवीन जायसवाल के मकान खाली करने पर हाई कोर्ट ने लगाई रोकइधर, भाजपा विधायक नवीन जायसवाल के सरकारी आवास को खाली कराने के लिए विभाग की ओर से नोटिस जारी कर दिया गया था। इसके लिए मजिस्ट्रेट सहित अन्य पुलिस पदाधिकारियों की नियुक्ति भी कर दी गई थी। लेकिन हाई कोर्ट के आदेश के बाद अब उनका आवास खाली नहीं होगा। दरअसल 10 दिसंबर को ही विधायक नवीन जायसवाल के आवास खाली करने को लेकर आदेश जारी कर दिया गया था। इसकी सूचना मिलते ही विधायक की ओर से हाई कोर्ट में अर्जेंट मेंशन किया गया।
14 दिसंबर को हाई कोर्ट में सुनवाई
इस मामले में विधायक नवीन जायसवाल का पक्ष रख रहे अधिवक्ता अजीत कुमार ने बताया कि सुनवाई के दौरान अदालत को वस्तुस्थिति की जानकारी दी गई। जिसके बाद इस मामले में 14 दिसंबर को सुनवाई निर्धारित की गई है। इस बीच कोर्ट ने अगली सुनवाई होने तक विधायक के खिलाफ किसी भी प्रकार की कार्रवाई करने पर रोक लगा दी है।
गौरतलब है कि नवीन जायसवाल के बंगले को पूर्व मंत्री हाजी हुसैन अंसारी को आवंटित किया गया था, लेकिन इस बीच कोरोना संक्रमण से पीड़ित होने के बाद उनकी मौत हो गई और वे इस दौरान रांची के पुंदाग क्षेत्र में स्थित अपने निजी मकान में ही रह रहे थे।