मुंबई हमले पर अमेरिका के बयान से पाकिस्तान को लगी मिर्ची, भारत पर निकाली खिसियाहट

इस्लामाबाद
साल 2008 में मुंबई हमले के मास्टरमाइंड जकी-उर रहमान लखवी को लेकर अमेरिका की टिप्पणी से तिलमिलाए पाकिस्तान ने भारत पर अपनी खिसियाहट निकाली है। पाकिस्तान ने दावा किया है कि उसकी कानून व्यवस्था ‘कुशल’ है और उसने अमेरिका से कहा है कि वह ‘भारत द्वारा किए जा रहे आतंकवाद’ पर अपनी चिंता जाहिर करे।

अमेरिका ने की थी टिप्पणी
दरअसल, पाकिस्तान की आतंकवाद रोधी एक अदालत ने शुक्रवार को मुंबई हमले के मास्टरमाइंड लखवी को 5 साल की कैद की सजा सुनाई है। इस पर अमेरिका के गृह विभाग ने कहा था कि लखवी के अपराध आतंकी फंडिंग से कहीं ज्यादा हैं और पाकिस्तान को मुंबई हमले समेत दूसरे आतंकी हमलों के लिए उसकी जिम्मेदारी तय करनी चाहिए।

‘हमारी कानून व्यवस्था कुशल’
इस पर पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय ने बयान जारी किया है- ‘अपने कानूनों और अंतरराष्ट्रीय जिम्मेदारियों का पूरी तरह पालन कर रहा है। तय प्रक्रिया के द्वारा जांच, अभियोजन और उसके बाद दोषी करार दिया जाना पाकिस्तान की कानून व्यवस्था की कुशलता को दर्शाता है जो बिना किसी बाहरी दबाव या असर के स्वतंत्र काम करती है।’

भारत पर फोड़ा ठीकरा
बयान में आगे भारत पर हमलावर होते हुए कहा गया है- ‘मुंबई मामले में कानूनी प्रक्रिया भारतीय पक्ष की ओर से पाकिस्तानी कोर्ट के द्वारा क्रॉस-एग्जामिनेशन के लिए गवाह को नहीं भेजने के कारण रुकी है। गृह विभाग अपनी चिंता भारत द्वारा आतंकी गतिविधियां पर केंद्रित करे जिसके लिए पहले ही सबूत दिए जा चुके हैं।’

‘FATF से बचने के लिए ढोंग’
भारत ने शुक्रवार को लखवी को आतंकवाद के वित्तपोषण के मामले में पाकिस्तानी अदालत के जेल की सजा सुनाए जाने के बाद पाकिस्तान पर कटाक्ष करते हुए कहा कि महत्वपूर्ण अंतरराष्ट्रीय बैठकों से पहले ‘आडंबर करना’ पाकिस्तान के लिए आम बात हो गई है। भारत ने कहा कि ये कदम साफ दिखाते हैं कि फरवरी 2021 में एफएटीएफ की पूर्ण बैठक और एपीजेजी (एशिया प्रशांत संयुक्त समूह) की बैठक से पहले पाकिस्तान खुद को कार्रवाई करते हुए प्रदर्शित करना चाहता है।

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